मेरठ के शास्त्रीनगर निवासी पूजा बंसल भाजपा उत्तर प्रदेश महिला मोर्चा की कार्यकारिणी सदस्य हैं। पूजा बंसल अपनी ही पार्टी के एक नेता से ठगी गईं। पूजा का आरोप है कि अपने आप को आरएसएस का नेता बताने वाले कानपुर सीढी इटारा गांव निवासी विष्णु बाबू दिवाकर ने उनसे 25 लाख रुपए की धोखाधड़ी कर ली। यह धोखाधड़ी चेयरमैन बनवाने के नाम पर की गई। पूजा के मुताबिक इसके लिए उसने विष्णु को 20 लाख रुपए कैश दिए और 5 लाख चेक से दिए। वर्षों से वह पूजा को विश्वास में लेता रहा तथा कहता रहा कि उसका काम हो जाएगा। एक दिन पूजा बंसल ने इस बात का जिक्र भाजपा के संगठन महामंत्री सुनील बंसल से कर दिया। सुनील बंसल ने जो कहा उसे सुनकर पूजा बंसल के पैरों के नीचे से जमीन खिसक गई। बकौल सुनील बंसल “बहन जी आप कहां उस ठग के चक्कर में फस गई। उसे तो मैं लोकसभा चुनाव से पहले ही ठगी के मामले में जेल भिजवा चुका हूं।”
इसके बाद पूजा बंसल की आंखों पर बंधी विश्वास की पट्टी जैसे खुल गई । तब उन्हें समझ में आया कि अब तक उनके साथ जो होता रहा वह छलावा था। यही नहीं बल्कि यह छलावा कोई और नहीं बल्कि एक ऐसा शातिर ठग कर रहा था जो संघ और भाजपा में किसी पद पर नहीं है। लेकिन पूजा को वह आरएसएस का नेता बताता रहा। हालांकि इस बारे में जो तथ्य सामने आ रहे हैं उसके अनुसार शातिर ठग विष्णु बाबू दिवाकर भाजपा उत्तर प्रदेश समिति का कार्यकारी सदस्य है। उसने न केवल पूजा बंसल के साथ ही ठगी की है बल्कि उसकी सहेली समेत 35 लोगों को अपने इस झूठ तंत्र के जाल में फंसाकर शिकार बनाया हैं। पूजा बंसल ने मीडिया के समक्ष खुद इसका खुलासा किया है। दूसरी तरफ चर्चा है कि विष्णु बाबू दिवाकर संघ में लखनऊ, दिल्ली से लेकर संघ मुख्यालय नागपुर तक अच्छी पकड़ रखता था।

पूजा के अनुसार बाबू दिवाकर ने अपने आपको संघ का बडा पदाधिकारी बताकर उनकी सहेली संगीता सिंह से 15 लाख रुपए ठग लिए। संगीता पैसे से अधिवक्ता हैं। दिवाकर ने पूजा की तरह उसे भी रेलवे बोर्ड में सदस्य बनवाने के नाम पर ठगा। पूजा के चचेरे भाई दीपक गुप्ता को भी उसने अपना शिकार बना डाला। उससे नौकरी लगवाने के नाम पर 15 लाख रुपए ले लिए। इन पैसों का इंतजाम उसने अपने घर को गिरवी रख कर किया।
ऐसे ही एक व्यक्ति प्रमोद कुमार को सरकारी ड्राइवर बनाने के नाम पर ₹5 लाख ठगे। वह पहले से ही ड्राइवर था। उसके अलावा उसका शिकार यह कई लोग भी हुए जो सरकारी टेंडर लेने में दिलचस्पी रखते थे। ऐसे कई लोगों के साथ उसने सरकारी टेंडर दिलाने के नाम पर लाखों की ठगी की। फिलहाल पूजा बंसल को ऐसे कई पीड़ित मिलें है। इन लोगों के मामले सामने आ गए हैं। जिनकी वह सूची बनाकर इस मामले की जांच कर रहे कानपुर के सीईओ सुशील कुमार दुबे को सौंपने की तैयारी कर रही है।

पूजा बंसल ने रविवार को इस बाबत कानपुर में शिकायत दर्ज की है। पूजा ने एक सांसद से इस मामले की बाबत रिपोर्ट दर्ज कराने की बात कही। जिसमें सांसद ने कानपुर के एसपी और सीओ से बात की है । बताया जा रहा है कि पुलिस ने रिपोर्ट दर्ज करने के लिए 24 घंटे का समय मांगा है। फिलहाल 24 घंटे का समय पूरा होते ही कानपुर पुलिस ने विष्णु बाबू दिवाकर के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर ली है।


पूजा बंसल शातिर ठग विष्णु बाबू दिवाकर के जाल में कैसे फंसी? इसके पीछे की कहानी बताते हुए वह कहती है कि जब मैं उससे मिलने जाती थी तो देखती कि बड़े-बड़े नेता उसकी चरण वंदना करते थे। इसके साथ ही अधिकारी भी दिन रात उसकी जी हजूरी और सेवा करने में लगे रहते थे। यह सब देखकर पूजा उसके व्यूह चक्र में जा फंसी।

दरअसल, इसके पीछे जो कहानी आ रही है वह भी बड़ी अजीब है। इसके अनुसार दिवाकर भाजपा के क्षेत्रीय अध्यक्षों के संपर्क में रहता था । जहां से वह भाजपा के नेताओं खासकर महिलाओं जो पार्टी में पदाधिकारी हैं या कार्यकारिणी सदस्य हैं उनकी सूची ले लेता था। जिनमें उनके नंबर होते थे। इन नंबरों पर ही वह फोन करके उन्हें पद और प्रतिष्ठा का लालच देता। यही नहीं बल्कि उनसे पूछता कि उन्हें सरकार से क्या कराना है। जिसकी जैसी ख्वाइश होती उसके अनुसार वह उनसे डिमांड करता। उसके बाद वह अपने आप को आरएसएस का बड़ा पदाधिकारी दर्शाने के लिए पार्टी के नेताओं के साथ अपने संबंध बताता। यही नहीं बल्कि उनके साथ ली गई उसकी फोटो भी उनको व्हाट्सएप करता। इससे जल्द ही उस पर लोग विश्वास करने लगते। जिस तरह पूजा बंसल ने उसके घर कानपुर में अधिकारियों और नेताओं का चरण वंदन देखा उससे और भी ज्यादा प्रभावित हो जाते थे। इसके बाद वह उसके झांसे में आ जाते और पैसे की डिमांड पूरी कर देते थे। लेकिन वह काम कराने की बजाय उनको टरकाता जाता।
पूजा बंसल की माने तो शातिर ठग विष्णु बाबू दिवाकर को भाजपा नेताओं ने राम मंदिर के नाम पर लाखों रुपए का चंदा दिया है । इनमें सबसे पहले नाम पूजा कपिल मिश्रा का आता है। पूजा कपिल मिश्रा भाजपा की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष है। उन्होंने सवा लाख रुपया तथा भाजपा नेत्री सरिता तोमर ने भी सवा लाख रुपया मंदिर के नाम पर चंदा उसे दिया था। यही नहीं बल्कि ऐसे सैकड़ों भाजपा नेता और कार्यकर्ताओं ने राम मंदिर के नाम पर चंदा जमा किया और दिवाकर को सौंपा है। यह अपने आप में चौंकाने वाली बात है। वह इसलिए कि भाजपा नेता उस पर इतना विश्वास करते हैं कि राम मंदिर के लिए एकत्र किया गया चंदा एकत्र कर उसके हवाले किया गया।

फिलहाल, विष्णु बाबू दिवाकर का पूरा कच्चा चिट्ठा सामने आने के बाद भाजपा उससे पल्ला झाड़ती हुई दिख रही है। कानपुर के क्षेत्रीय अध्यक्ष मानवेंद्र सिंह ने कहा है कि भाजपा में उसका कोई पद नहीं है। लेकिन दूसरी तरफ एक पोस्टर भी सामने आया है । जिसमें अविनाश सिंह चौहान को कानपुर मंडल का भाजपा अध्यक्ष मनोनीत करने पर बधाई दी गई है। इसमें विष्णु बाबू दिवाकर का फोटो लगा हुआ है। जिस पर दिवाकर के नाम के नीचे सदस्य प्रदेश कार्यकारिणी समिति भाजपा लिखा हुआ है।

